image: Buranse the medicine of uttarakhand

अमृत से कमं नहीं उत्तराखंड का बुरांस, रिसर्च में निकली हैं चौंका देने वाली बातें

Jun 17 2017 9:32AM, Writer:शेखर

हर साल बंसत का मौसम आते ही पहाड़ों के ऊंचे इलाके बुरांस के पेड़ों से लकदक हो जाते हैं। बुरांस उत्तराखंड की शान है, इस बात में कोई शक नहीं। लेकिन एक बार फिर से बुरांस को लेकर कुछ रिसर्च हुई है। इस शोध में कई बातें निकलकर सामने आई हैं। क्या आप जानते हैं कि एक गिलास बुरांस के जूस का रोजाना सेवन करने से आपको कभी कोई बीमारी नहीं घेर सकती। इस फूल में इम्यूनिटी पावर को बढ़ाने वाले कई तत्व पाए गए हैं। इसका जूस बहुत स्वादिष्ट होने के साथ साथ स्वास्थ्य वर्धक भी है। ये एक आयुर्वेदिक औषधि है और आपके लीवर को प्रोटेक्ट करती है। इसके साथ ही बुरांस का जूस हाई ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करती है। बुरांस का जूस आपकी त्वचा को निखारने का भी काम करता है। इसके साथ ही बुरांस के फूल का उपयोग कई हर्बल प्रोडक्टस् बनाने में किया जाने लगा है। इसके अलावा भी इस खबर से जुड़ी कुछ और भी बातें हैं।

इसके साथ ही बुरांस पर की गई रिसर्च में कहा गया है कि अस्थमा के रोगियों के लिऐ ये जीवन दायिनी औषधि से कम नहीं है। इस फूल से अस्थमा के रोगियों के लिए कई तरह की दवाईयां तैयार होती हैं। एक्सपर्ट्स कहते हैं कि अस्थमा के रोगी को भी हर दिन बुरांस के जूस का सेवन करना चाहिए। बुरांस के जूस में विटामिन सी और विटामिन बी कॉम्प्लेक्स भरपूर मात्रा में पाया गया है। यानी बी कॉम्पलेक्स आपकी प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। यानी बुरांस के रोजाना सेवन से आपके शरीर की रोगों से लड़ने की क्षमता और भी ज्यादा बढ़ जाएगी। इसके अवावा इसमें मौजूद विटामिन सी आपके शरीर को सुंदर और आकर्षक बनाता। विटामिन सी त्वचा संबंधी रोगों को भी दूर करता है। विटामिन सी बालों से संबंधित बीमारियों को भी दूर करता है। इसके अलावा भी बुरांस विटामिन ए, विटामिन ई जैसे तत्वों से भरा पड़ा है। बुंरास का जूस बनाना बहुत ही आसान है।

पहले बुरांस के लाल फूल को चुन कर अलग किया जाता है ओर फिर इसे पानी में उबाला जाता है। उबले हुए पानी में बुरांस के फूलों का रस निकल जाता है। आप इस रस को ठंडा करने के बाद चीनी में घोलकर पी सकते हैं। स्वास्थ्य के सात साथ बुरांस आपके लिए रोजगार का भी साधन बन गया है। मार्च के महीने में कई लोग इस फूल को चुना शुरू कर देते हैं। इसके बाद इसका जूस बनाकर बाजार में बेच देते हैं। हालांकि ये छोटे वक्त का कारोबार है, लेकिन पूरे भारत में इसकी मांग को देखते हुए, इसका उत्पादन लगातार बढ़ता जा रहा है। उधर हिमाचल में बुरांस के फूल को शुभ माना जाता है। बैसाखी के दिन बुरांस के फूल का हिमाचल में विशेष महत्त्व होता है। बैसाखी के दिन बुरांस के फूल को घर के दरवाजे पर लगाया जाता है। कुल मिलाकर कहें को बुरांस का फूल हृदय रोग, किडनी, लिवर , रक्त कोशिकाओं को बढ़ाने और हड्डियों के सामान्य दर्द के दौरान आपकी मदद करता है। इसके साथ साथ बुरांस का पारंपरिक महत्व भी बहुत ज्यादा है।


  • MORE UTTARAKHAND NEWS

View More Latest Uttarakhand News
  • TRENDING IN UTTARAKHAND

View More Trending News
  • More News...

News Home