image: Ranger Mahendra Giri of Rajaji Tiger Reserve received the award

उत्तराखंड: इस फॉरेस्ट ऑफिसर को मिला अंतरराष्ट्रीय अवॉर्ड..पूरे एशिया से चुने गए इकलौते रेंजर

वन्यजीवों के संरक्षण में एक अहम भूमिका निभाने के लिए उत्तराखंड के राजाजी टाइगर रिजर्व के रेंजर महेंद्र गिरी को समस्त एशिया में से सम्मान देने के लिए इकलौता रेंजर चुना गया है।
Mar 28 2021 1:23PM, Writer:Komal Negi

उत्तराखंड से एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है। उत्तराखंड का परचम अब देश में ही नहीं बल्कि पूरे विश्व में ऊंचा हो गया। जी हां, उत्तराखंड के मशहूर राजाजी टाइगर रिजर्व के खाते में एक और बड़ी उपलब्धि जुड़ गई है।राजाजी टाइगर रिजर्व के रेंजर महेंद्र गिरी को देश से नहीं बल्कि समस्त एशिया से इकलौता रेंजर चुना गया है। वन्यजीवों के संरक्षण में एक अहम भूमिका निभाने के लिए और योगदान देने के लिए राजाजी टाइगर रिजर्व के रेंजर महेंद्र गिरी को आईयूसीएन, डब्लूसीपी इंटरनेशनल रेंजर अवार्ड दिया जाएगा और गर्व की बात यह है कि यह पुरस्कार पाने वाले महेंद्र गिरी पूरे एशिया महाद्वीप में इकलौते रेंजर हैं। एशिया के सभी देशों को पछाड़ते हुए राजाजी टाइगर रिजर्व पार्क के रेंजर महेंद्र गिरी को वन्यजीवों के संरक्षण में अहम योगदान के लिए इंटरनेशनल रेंजर अवार्ड प्रदान किया गया है और ईनाम में टाइगर रिजर्व को 10000 राशि भी दी जाएगी। आईयूसीएन डब्ल्यू सीपीए की ओर से वन्यजीवों के संरक्षण में अहम योगदान के लिए यह पुरस्कार प्रदान किया जाता है।

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इंटरनेशनल रेंजर फेडरेशन और ग्लोबल वाइल्डलाइफ कंजर्वेशन की ओर से यह पुरस्कार उन टाइगर रिजर्व और रेंजर्स को दिया जाता है जो कि वन्य जीव संरक्षण में अहम भूमिका निभाते हैं। इस अवार्ड के लिए पूरे दुनिया के 41 देशों के 630 टाइगर रिजर्व के 630 रेंजर और वन कर्मियों ने दावेदारी की थी। इंटरनेशनल रेंजर्स फेडरेशन और ग्लोबल वाइल्डलाइफ कंजर्वेशन सभी पहलुओं पर गौर करने के बाद पूरे एशिया महाद्वीप में से केवल उत्तराखंड के रेंजर महेंद्र गिरी को चयनित किया है और उनको यह अवॉर्ड दिया गया है। टाइगर रिजर्व के निदेशक डीके सिंह ने बताया कि यह राजाजी टाइगर रिजर्व के लिए एक बड़ी उपलब्धि है और पुरस्कार के रुप में राजाजी टाइगर रिजर्व को 10 हजार की राशि के साथ एक प्रशस्ति पत्र भी दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि संस्था की ओर से जो पुरस्कार राशि दी जाएगी उसको वन्यजीवों के संरक्षण के लिए उपयोग में लाया जाएगा और इसी के साथ कर्मचारियों के प्रशिक्षण पर भी खर्च किया जाएगा। वन्यजीवों के संरक्षण को लेकर उपकरणों की खरीद में भी इस राशि का प्रयोग किया जाएगा और यह सुनिश्चित किया जाएगा कि भविष्य में भी राजाजी टाइगर रिजर्व वन्यजीवों के संरक्षण में बेहतरीन काम करता रहे।


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