देहरादून में प्रॉपर्टी खरीदने वाले सावधान..कहीं जीते जी आपका मृत्यु प्रमाण पत्र न बन जाए
देहरादून में भू-माफियों ने एक व्यक्ति को जीते-जी मारते हुए उसका फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा दिया और उसके पीठ पीछे उसकी जमीन का सौदा कर दिया।
Sep 6 2020 3:13PM, Writer:Komal Negi
देहरादून में भू-माफियों की हिम्मत दिन-प्रति-दिन बढ़ती ही जा रही है। ऐसा लगता है कि उनके मन से कानून का खौफ मिट चुका है। भू माफिया सरेआम झूठ बोलने और बेईमानी करने पर उतर आए हैं। यहां तक कि वे जमीन के जीवित मालिक को मरा हुआ तक साबित कर रहे हैं और उनकी जमीन हथियाने की फिराक में हैं। हाल ही में दून में पुलिस ने ऐसे ही एक दिल दहला देने वाले मामले से पर्दा उठाया। दून में दो युवकों ने एक व्यक्ति को जीते-जी मारते हुए उसका फर्जी प्रमाण पत्र बनवा दिया और उसके मकान का सौदा भी कर दिया। आरोपियों की सच्चाई जब पुलिस को पता चली तो पुलिस भी आश्चर्यचकित हो गई। आरोपियों ने जमीन हड़पने के लिए जो चाल चली वो बेहद शातिर थी। हालांकि पुलिस से बहुत दिनों तक उनकी यह चालाकी छिप नहीं पाई। फिलहाल दोनों आरोपी पुलिस की कैद में हैं।
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बता दें कि आरोपियों ने गुपचुप तरीके से देहरादून के निवासी और जमीन के असली मालिक दिलीप चौहान का एक फर्जी मृत्यु प्रमाण बना डाला जिसकी भनक मालिक तक को नहीं लगी। इस बात की शिकायत मिलते ही देहरादून के रायपुर थाना क्षेत्र में मकान मालिक दिलीप सिंह के पैरों तले जमीन तब खिसक गई। उनको तब शॉक लगा जब जमीन के खरीददार स्वयं उसके घर पहुंच गए। तब दिलीप सिंह को यह भी पता लगा कि किसी शातिर आदमी के द्वारा उनका फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा कर उनकी 600 गज की जमीन को बेचने की कोशिश हो रही है।वही मकान मालिक ने तुरंत ही इस मामले की शिकायत पुलिस में कराई जिसके बाद रायपुर पुलिस हरकत में आई और मामले की गहरी जांच की। जांच में दो युवकों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
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एक आरोपी की पहचान रोहन त्यागी और दूसरे की पहचान सतीश त्यागी के रूप में हुई है। दोनों आरोपी दिल्ली के ही रहने वाले हैं और दोनों आरोपियों ने देहरादून के रायपुर थाना क्षेत्र में दिलीप सिंह चौहान का एक फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा कर उनकी जमीन का सौदा 51 लाख में कर लिया था। इसके बदले दोनों ने एडवांस के रूप में 10 लाख रुपए भी ले लिए थे। मामले की सच्चाई तब पता लगी जब कुछ लोग पीड़ित दिलीप सिंह चौहान के घर की रजिस्ट्री करवाने जा रहे थे और जब जमीन की खरीदारी करने वाले खुद उसके पास पहुंचे। इस पूरे मामले में सबसे आश्चर्यजनक बात यह है कि जुलाई में जब राज्य में पूरी तरीके से लॉकडाउन लगा था तब तहसील में आरोपी के नाम के पेपर्स ट्रांसफर किए गए थे। दिलीप सिंह चौहान का आरोप है की इन भूमाफियों के साथ तहसील का ही कोई बड़ा अधिकारी या कोई कर्मचारी शामिल है और उन्हीं की मदद से इस वारदात को अंजाम दिया गया है। हालांकि पुलिस द्वारा दोनों आरोपी के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है और दोनों से पूछताछ की जा रही है।