देवभूमि की इस जगह को श्रापमुक्त कहते हैं, बॉलीवुड भी हैरान हुआ..बन रही है फिल्म
उत्तराखंड की तरफ बॉलीवुड लगातार खिंचा चला आ रहा है। अब महेश भट्ट उत्तराखंड की उस जगह पर फिल्म बना रहे हैं, जिसे श्रापमुक्त कहा जाता है।
Nov 6 2018 8:18AM, Writer:कपिल
चमत्कारों की धरती उत्तराखंड में ऐसी जगहें मौजूद हैं, जिनकी कहानियां वास्तव में रौंगटे खड़े कर देती हैं। आपको याद होगा कि हाल ही में बॉलीवुड के दिग्गज डायरेक्टर महेश भट्ट अपनी बेटी पूजा भट्ट के साथ फिल्म की लोकेशन देखने के लिए उत्तराखंड आए थे। यहां महेश भट्ट कई जगहों में घूमे लेकिन एक लोकेशन उनके दिमाग में घर कर गई। उस जगह का नाम है माणा। महेश भट्ट ने माणा गांव के पूर्व प्रधान पीतांबर मोल्फा से मुलाकात की। बातचीत में उन्होंने बताया कि 5 महीने बाद इस गांव में फिल्म की शूटिंग होगी। फिल्म में आलिया भट्ट और संजय दत्त मुख्य भूमिका में होंगे। दरअसल महेश भट्ट इस जगह की तरफ यूं ही नहीं खिंचे चले आए। इसके पीछे कुछ ऐसी वजहें हैं, जिन्हें जानकर आप भी हैरान रह जाएंगे।
एक मान्यता के के मुताबिक इस गांव में आने पर व्यक्ति स्वप्नद्रष्टा हो जाता है। जिसके बाद वो जीवन में आगे होने वाली घटनाओं के बारे में जान सकता है। वेदों पुराणों में इस जगह का जिक्र किया गया है और कहा गया है कि यहीं स्वर्गारोहिणी यानी स्वर्ग का रास्ता बना हुआ है। महाभारत युद्ध जब खत्म हुआ था तो पांडव द्रोपदी के साथ इसी गांव से होकर स्वर्ग को जाने वाली स्वर्गारोहिणी सीढ़ी तक गए थे। बेमिसाल खूबसूरती और भरपूर संसाधनों से भरे इस गांव के लोग बेहद आस्तिक हैं। कहा जाता है कि इस गांव को श्रापमुक्त जगह का दर्जा प्राप्त है। हिंदू धर्म की मान्यता कहती है कि व्यक्ति के जीवन में जो भी कष्ट आते हैं वो उसके द्वारा ही किए गए पापों के चलते होता है। इस जगह पर आने पर व्यक्ति सभी पापों से मुक्त हो जाता है। इसके बारे में ऐसा क्यों कहा जाता है, ये भी जानिए।
हिंदुओं के पवित्र तीर्थ बदरीनाथ धाम से 3 किलोमीटर आगे पड़ता है माणा गांव। इसे मणिभद्रपुरी कहा जाता है। मणिभद्र देव भगवान शिव के अनन्य भक्त थे। शिव ने माणिभद्र देव को वरदान दिया कि माणा यानी उनके गांव आने पर व्यक्ति की दरिद्रता दूर हो जाएगी। कहा जाता है कि जो कोई भी आता है और सच्चे मन से भगवान शिव का नाम जपता है,उसकी गरीबी दूर हो जाती है। आपको जानकारी के लिए ये भी बता दें कि भगवान गणेश ने व्यास ऋषि के कहने पर महाभारत की रचना भी माणा गांव में रहकर की थी। यहां बनी व्यास गुफा और गणेश गुफा हर किसी के लिए आकर्षण का केंद्र है। इसके अलावा यहां से कुछ किलोमीटर की दूरी पर रहस्यमयी जल प्रपात वसुधारा भी है। कहा जाता है कि पाप करने वालों के शरीर पर इसके पानी की बूंद तक नहीं पड़ती।